बुल्गारिया के कोज़लोडुई परमाणु ऊर्जा संयंत्र (Kozloduy Nuclear Power Plant) के विस्तार के लिए सिटी (Citi) के साथ साझेदारी भारत के लिए एक महत्वपूर्ण वैश्विक संदर्भ प्रस्तुत करती है। यह परियोजना न केवल बुल्गारिया की ऊर्जा स्वतंत्रता को बढ़ाती है, बल्कि अंतर्राष्ट्रीय सहयोग और परमाणु ऊर्जा के विकास में एक मिसाल कायम करती है । भारत, जो अपनी ऊर्जा जरूरतों को पूरा करने के लिए परमाणु ऊर्जा पर ध्यान केंद्रित कर रहा है, इस परियोजना से कई महत्वपूर्ण सबक सीख सकता है। कोज़लोडुई परमाणु ऊर्जा संयंत्र में दो नई इकाइयों (Units 7 और 8) का निर्माण किया जाएगा, जिसमें वेस्टिंगहाउस (Westinghouse) की AP1000 तकनीक का उपयोग होगा । यह तकनीक सुरक्षा और दक्षता के मामले में उन्नत मानी जाती है। भारत को भी अपनी परमाणु ऊर्जा परियोजनाओं में नवीनतम तकनीकों को अपनाने पर ध्यान देना चाहिए। बुल्गारिया की ऊर्जा मंत्रालय के अनुसार, यह समझौता देश की ऊर्जा स्वतंत्रता और दीर्घकालिक स्थिरता सुनिश्चित करेगा । भारत के लिए भी ऊर्जा सुरक्षा एक महत्वपूर्ण मुद्दा है, और परमाणु ऊर्जा इस दिशा में एक महत्वपूर्ण योगदान कर सकती है। इस परियोजना में सिटी की भूमिका एक विशेष समन्वयक और निर्यात ऋण सुविधा के व्यवस्थापक की है। यह सेंट्रल और ईस्टर्न यूरोप में सिटी का सबसे बड़ा परमाणु ऊर्जा वित्तपोषण परियोजना है । भारत को भी अपनी परमाणु ऊर्जा परियोजनाओं के लिए अंतर्राष्ट्रीय वित्तपोषण के अवसरों का पता लगाना चाहिए। परमाणु ऊर्जा संयंत्र लगभग 35% बिजली का उत्पादन करता है । 2025 तक यूनिट 5 को 1,100 MWe तक अपग्रेड किया जाना था । कोज़लोडुई परमाणु ऊर्जा संयंत्र का विस्तार भारत के लिए एक महत्वपूर्ण उदाहरण है कि कैसे अंतर्राष्ट्रीय सहयोग और उन्नत तकनीक का उपयोग करके ऊर्जा सुरक्षा को बढ़ाया जा सकता है। भारत को इस परियोजना से सीख लेकर अपनी परमाणु ऊर्जा परियोजनाओं को और अधिक प्रभावी और सुरक्षित बनाने पर ध्यान देना चाहिए।
बुल्गारिया का कोज़लोडुई परमाणु ऊर्जा संयंत्र विस्तार: भारत के लिए वैश्विक संदर्भ और सबक
स्रोतों
Българска Телеграфна Агенция
Reuters
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