सीबेड 2030 परियोजना, जो 2017 में शुरू हुई, ने 25% से अधिक समुद्र तल का मानचित्रण किया है, जो कि केवल 6% से एक महत्वपूर्ण वृद्धि है। यह वैश्विक पहल विस्तृत समुद्र तल मानचित्र बनाने के लिए ऐतिहासिक डेटा, अनुसंधान और औद्योगिक जहाजों से सोनार तकनीक और उन्नत कंप्यूटिंग शक्ति को जोड़ती है। कोलंबिया विश्वविद्यालय के विक्की फेरिनी ने प्रकाश डाला कि ये मानचित्र जटिल पानी के नीचे की विशेषताओं को प्रकट करते हैं, जिससे समुद्री प्रक्रियाओं की हमारी समझ बढ़ती है। समुद्र तल का 3डी दृश्य प्रदान करने वाली मल्टीबीम सोनार तकनीक इस प्रयास के लिए महत्वपूर्ण है। परियोजना डेटा रिज़ॉल्यूशन विविधताओं और भू-राजनीतिक जटिलताओं जैसी चुनौतियों का समाधान करती है, खासकर आर्कटिक जैसे विवादित क्षेत्रों में। मशीन लर्निंग डेटा प्रोसेसिंग और इमेज एन्हांसमेंट में मदद करती है। निप्पॉन फाउंडेशन द्वारा वित्त पोषित, सीबेड 2030 का उद्देश्य आवश्यक डेटा प्रदान करके समुद्र तल खनन और अन्य महत्वपूर्ण मुद्दों पर निर्णयों को सूचित करना है।
सीबेड 2030: वैश्विक पहल ने 25% से अधिक समुद्र तल का मानचित्रण किया, छिपे हुए पानी के नीचे के परिदृश्य का खुलासा
इस विषय पर और अधिक समाचार पढ़ें:
क्या आपने कोई गलती या अशुद्धि पाई?
हम जल्द ही आपकी टिप्पणियों पर विचार करेंगे।